RATH YATRA : JAGANNATH PURI
भगवान जगन्नाथ की यात्रा :
जगन्नाथ पूरी में मध्याकाल से ही भगवान् की रथ यात्रा निकलती है। इसमें मंदिर के प्रमुख देवता भगवान् जगन्नाथ ,बलभद्र और भगिनी सुभद्रा सब को अलग अलग रथ में विसर्जित किया जाता है। पूरी तरह से सुसर्जित इस यात्रा का नजारा भव्य दीखता है।
पूरी में जगन्नाथ भगवान का मंदिर है। जहा इनकी आम भगवान् की तरह पथ्थर की नहीं बल्कि लकड़ी की मूरत है। ऐ भगवान् यह कैसे प्रगट हुवे उसकी पूरी कहानी फेमस है ऐ कहानी स्कंद पुराण के वैष्णव खंड में "पुरषोत्तम क्षेत्र महात्म्य " में लिखी हुई है।
भगवान जगन्नाथ जगत के नाथ है साल में एक बार भगवान् स्वयं मंदिर से बहार निकल कर अपने भक्तो को दर्सन देते है उस दिन को रथयात्रा कहा जाता है।
रथ यात्रा के दिन जगन्नाथ, भाई बलराम और बहन सुभद्रा के साथ रथ में बैठकर निकल ते है और फिर गुंडिचा मंदिर तक उनकी यात्रा निकल जाती है।
भगवान जगन्नाथ की रथ यात्रा निकलेगी सुप्रीम कोर्ट ने दी अनुमति कुछ शर्तो के साथ :
ओडिसा के पूरी में भगवान् जगन्नाथ की यात्रा के आयोजन की सेकड़ो साल पुराणी परंपरा जारी रहेगी। सुप्रीम कोर्ट ने कुछ सरतो के साथ अनुमति दे दी है। इस साल मगलवार को रथ यात्रा निकलेगी।
कोरोना सक्रमण को देखते हुवे इस साल रथ यात्रा निकलने की मजूरी सुप्रीम कोर्ट ने नहीं दी १८ जून को ऐसा फैसला लिया गया। इस फैसले को वापस लेने के लिए २१ लोगो ने उच्च न्यायालय में नोटिस जारी किया। उस २१ लोगो में एक मुस्लिम लड़का था यह १९ साल का था। इस युवक की तुलना भगवान जगन्नाथ के सबसे बड़े भक्त से की जा रही है।
भगवान जगन्नाथ के सबसे बड़े भक्त सालबेग है ऐसा माना जाता है। ऐसी कहानी है की जब रथ यात्रा मंदिर से निकली तो रथ के पाइये मजार के पास जा कर थम गए। लोगो ने काफी कोसिस की लेकिन रथ मजार के सामने से नहीं हिला तब एक वक्ती ने ओडिसा के राजा से कहा भगवान् के भक्त सालबेग का जयकारा लगवाए। उस व्यक्ति की बात मन कर राजा ने सालबेग का जयधोस किया तो रथ आपने आप वह से चल पड़ा। इस के कारन भगवान् जगन्नाथ पूरी यात्रा कुछ देर के लिए उस मजार पर रुके जाती है।
ओडिसा सरकार ने भगवान् जगन्नथ की यात्रा से पहले पुरी में कर्फु जैसा बंध लागु कर दिया। और लोगो से अपील की की वे २३जुन को रथ यात्रा निकल जाने के समय कोविड -१९ की वजह से अपने घरो से बहार न निकले।
राज्य के पुलिस महानिदेशक ने कहा की " रथ यात्रा आयोजन की उम्मीद में हमने रविवार शाम से ही बल की तैनाती शुरू कर दी है। इस बार केवल पूरी में रथ यात्रा निकलने की अनुमति है।
महानिदेशक ने कहा की पूरी में रथ यात्रा देखने के लिए घर से बहार निकल ने से बचना चाहिए। उन्होंने कहा की पूरी और सभी यात्राडु को रथ यात्रा टेलीविसिन पर देखने का आग्रह करते है। इस बिच पूरी सभी प्रवेश बिंदु बांध कर दिए गए है।
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भगवान् जगन्नाथ ,भाई बलराम ,बहन सुभद्रा |
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